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जसप्रीत बुमराह

जसप्रीत बुमराह ने कहा, जो काम मोहम्मद शामी ने 2023 के वर्ल्ड में किया था यह बिल्कुल उसी तरह से है, अर्शदीप भारत के लिए वही गेंदबाजी कर रहे है।

यह देख भारतीय समर्थक बहुत खुश है की हमे गेंदबाजी में किसी की कमी नहीं खल रही नहीं तो हर बार गेंदबाजी कही न कही कमजोर दिखाई देती है। इस बार इस विश्व कप में सिर्फ बल्लेबाजी का जोर नहीं है, इसमे गेंदबाजी दबदबा बहुत है, बड़ी से बड़ी टीम बहुत कम स्कोर पर ही सिमट जाती है, यदि सिर्फ बल्लेबाजी होती रहे तो एक बार को मैच फीका होने लगता है फिर टीवी देखने का भी नहीं करता कई मैच बिल्कुल एकतरफ हो जाते है जिनकी जीत निश्चित हो जाती है, लेकिन इस टी 20 विश्व कप 2024 में सबकुछ बिल्कुल विपरीत है यहाँ बल्ले से ज्यादा बाल का कमाल दिख रहा है।

जसप्रीत बुमराह
अर्सदीप

वैसे आप क्या कहना चाहते जसप्रीत बुमराह ने जो कहा वो ठीक है ? की इस बार मोहम्मद शामी की कमी को अरशदीप पूरा कर रहे है, अपनी राय कमेन्ट में बताए।

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भारतीय टीम

क्या होगा ओर क्या नहीं , क्या सपना पूरा होगा या फिर वो सपना अधूरा रह जाएगा करोड़ों लोगों की दुआए साथ है भारतीय टीम के साथ चाहे मैदान में सिर्फ 11 प्लेयर खेल रहे हो लेकिन 143 करोड़ लोग यही दुआ मांग रहे है की भारतीय टीम विजेता बने।

इस बार फिर विश्व कप हम जीत जाए ओर उन 2007 की यादों को फिर से हम दोहराए, हर बार हम कुछ बेहतर पर्दशन की अपेक्षा करते है ओर हमारी भारतीय टीम बेहतर करती भी है, नीला समुन्द्र बन हम लोग सभी स्टेडियम को खचाखच भर देते है, जिससे हमारी भारतीय टीम को हमारा साथ भरपूर मिले, मैच दुनिया के किसी भी कोने में क्यू ना हो लेकिन हम सभी नीली जर्सी पहन वहाँ पहुच जाते है, ओर उस स्टेडियम को नीला समुन्द्र बना देते है।

किसी भी टीम के साथ मैच हो लेकिन हम अपने जोश में कोई कमी नहीं आने देते हम हर हाल में अपने देश के साथ होते है।

भारतीय टीम में खेल सभी खिलाड़ियों को प्रोत्साहन देने के लिए हम उनके साथ खड़े होते है उनकी जीत ओर हार में हम दोनों के तैयार होते है बस हमारी उम्मीद यही रहती है की पूरी टीम अपना बेस्ट दे ओर हमारी भारतीय टीम अपना बेस्ट देने में कोई कसर नहीं छोड़ती जिसकी वजह से आज हम सभी देशों में पहचाने जाते है, हम उन बेहतरीन टीमों में जो जो विश्व कप की प्रबल दावेदार टीम होती है।

अब 2024 का T20 वर्ल्ड कप शुरू हो चुका है, जिसमे की हम अपना पहला मुकाबला जीत चुके है, हमारा पहला मैच आयरलैंड की टीम से था जो हम आसानी से जीत गए, अब हमारा दूसरा मुकाबला पाकिस्तान से है जो 9 जून को भारत ओर पाकिस्तान के बीच मैच यह क्रिकेट में सबसे बड़ा मुकाबला कहा जाता है, इसमे दोनों टीमों अपनी पूरी जी जान लगा देती है यह एक हाई प्रेशर मैच रहता है दोनों ही टीमों के लिए इसलिए सिर्फ भारत ओर पाकिस्तान के लोग ही इस मैच को नहीं देखते बल्कि ओर भी देश इस मैच को देखते है।

तो आप भी देखिए 9 जून 2024 दिन रविवार है छुट्टी का दिन है आराम से बैठकर परिवारसहित यह मैच देखिए।

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भारत और पाकिस्तान

बड़ा दिन, बड़ा मंच है, जिसका लोग सालों भर इंतजार करते है, वर्ल्ड कप जीतो या नहीं जीतो लेकिन आप वर्ल्ड कप में पाकिस्तान से मैच जरूर जीतो इस बात का टीम भारत पर बहुत प्रेशर रहता है ओर अधिकतम लोगों की यही सोच रहती है की पाकिस्तान से जरूर जीतो चाहे आप वर्ल्ड कप जीत कर लाओ या नहीं, इस मुकाबले का इतना शोर मचता है की आप दुनिया के किसी भी कोने में हो लेकिन आपके पास ये खबर पहुच ही जाएगी की आज भारत और पाकिस्तान का मैच है, इसी के साथ ही आज भारत ने टॉस जीत लिया था लेकिन पहले गेंदबाजी का निर्णय लिया

आज पाकिस्तान ने अच्छी शुरुआत की थी ओर ऐसा लग रहा था की पाकिस्तान आज अपनी पारी को अच्छे नंबरों के साथ समाप्त करेगी, पाकिस्तान के एक समय पर 157 पर 2 विकेट थे लेकिन 191 पर पहुचने पर पूरी टीम सिमट गई, जो बहुत अच्छा टोटल नहीं कहा जाता, यहाँ तारीफ करनी होगी भारतीय गेंदबाजों की जिन्होंने पूरी तरह से पाकिस्तान के बल्लेबाजों को 3 विकेट के बाद गिरते ही घेर लिया

नरेंद्र मोदी स्टेडियम बिल्कुल भरा हुआ था, हर कोई आज नीले रंग में है नीले रंग को प्रोत्साहन देने के लिए 1.25 लाख आए है, मैदान में जो आज गूंज है भारत माता की जय के नारे हर तरफ गूंज रहे है, जीतेगा भारत भाई जीतेगा

भारत ओर पाकिस्तान अपने 2-2 मैच जीतकर आज तीसरे मुकाबले के लिए आमने सामने है आज जो भी टीम मैच जीतेगी वही टीम ज्यादा अंकों के साथ सबसे ऊपर होगी।  

भारत और पाकिस्तान के बीच हमेशा कडा मुकाबला होता है, यही उम्मीद रहती है की मुकाबला कांटे का ही होगा।

भारत की अच्छी शुरुआत लेकिन थोड़ी जल्दी शुभमन गिल की विकेट गिरी जो आज अपना पहला वर्ल्ड कप का मैच खेल रहे थे, उसके थोड़ी देर बाद ही विराट कोहली भी आउट हो गए। लेकिन उसके बाद भी रोहित शर्मा ओर श्रेयश अय्यर की पारी ने जीत दिल दी, ओर 192 के रन के स्कोर को भारत ने आसानी से प्राप्त कर लिया।

भारत आज विश्व कप में आठवी बार जीत गया जबकी पाकिस्तान भारत से विश्व कप में एक बार भी मैच नहीं जीता पाकिस्तान , श्रेयश एयर की हाफ सेंचुरी बनी

भारत ने 30.3 बाल में यह मैच जीत लिया जिसके चलते अब भारत पहले नंबर पर आ गई है।

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कोविड 19

कोविड 19 कोरोनावायरस एक ऐसी बीमारी जिसने पूरी दुनिया को अपनी चपेट में ले लिया दुनिया में कोई भी ऐसा नहीं है जो कि इस वायरस से बचा हो।

अब यह बीमारी कोई प्रकृति का प्रकोप है या फिर बनाया गया कोई वायरस यह तो हम नहीं जानते परंतु हम तो सिर्फ इसके परिणामों को ही देख रहे हैं ऐसी बीमारी ना तो कभी आई है ना ही कभी आए हम यही कामना करते हैं। इसे बीमारी की जगह महामारी कहना और ज्यादा ठीक रहेगा। जोकि चाइना के वुहान शहर से शुरू होकर इटली पहुंची और इटली से सारी दुनिया में पहुंची।

दुनिया के बड़े बड़े देश जो हर चीज में विकास पूरक है वह भी आज इस वायरस के आगे घुटने टेके खड़े हैं। और हमारे देशवासियों का तो क्या कहना यह हमारे देश वासी हैं जो महामारी में भी लोगों का फायदा उठा रहे हैं जब शुरुआत में वायरस की खबर आई तो पूरी मार्केट से सैनिटाइजर गायब कर दिए ब्लैक में बेच रहे हैं 4:30 हजार का एक टेस्ट हो रहा है जो कि व्यक्ति को पहले भी कराना जरूरी है और ठीक होने के बाद भी कराना जरूरी है अगर एक इंसान के घर में 4 लोग भी हैं तो 18000 पहले और 18000 बाद में यानी कि ₹36000 वह सिर्फ टेस्ट टेस्ट में खर्च कर रहा है।

आखिर आम आदमी के पास इतना कौन सा खजाना है कि वह इतना खर्च करें सिर्फ टेस्ट टेस्ट के ऊपर अगर अस्पतालों की बात करें तो किसी एक मरीज को रखने के लिए ₹50000 लाख रुपए प्रति दिन के हिसाब से भी वसूले जा रहे हैं क्योंकि कोई ट्रीटमेंट बना ही नहीं है सुरक्षा है घर पर रहकर भी ठीक हो रहे हैं बीमारी की वजह से लोगों का जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है अर्थव्यवस्था बिल्कुल पटरी पर आ गई है न जाने कितने उद्योग धंधे कारखाने सब बंद हो गए हैं कितने ही लोग बेरोजगार हो गए कितने ही लोगों का घर खर्च का पैसा नहीं है बच्चों की फीस लेने के लिए नहीं है

क्या तो आज ही खाएं और क्या करें और जिन लोगों का काम छूट गया है क्या उनको कोई राहत है अगर कुछ लोग पेट भरने के लिए खाना भी दे रहे हैं तो सिर्फ पेट भरने से ही इंसान का जीवन नहीं चलता इंसान के जीवन में शिक्षा जीवन स्तर भी कुछ मायने रखता है इस बीमारी ने सब की छवि एकदम मिटा दिए। अमेरिका देश चौकी दुनिया की सुपर पावर होने की दावा करता था।

कोविड 19 आज कोरोनावायरस के मारे अपने दरवाजे पूरी दुनिया के लिए बंद किए बैठा है परंतु एक बात और देखने में आई है हमारे देश भारत में लोगों में जागरूकता की बहुत कमी है जब तक हमारे स्वयं के ऊपर ना बीते तब तक हम जागरूक नहीं होते।कोरोनावायरस या कोविड-19 आज के समय में एक ऐसी बीमारी है जो भारत नहीं पूरे विश्व में फैल चुकी है, और इसकी चपेट में आ चुका है।

बीमारियां बहुत है इस दुनिया में वर्तमान में कई कारण भी है परंतु विषाणु जनित बीमारी सबसे खतरनाक आज के समय में है बीमारी के वैसे तो कोई कारण होते हैं जैसे कि बैक्टीरिया प्लाज्मोडियम सूक्ष्म जीव आदि परंतु आज के समय में हमारा रहन सहन भी बीमारियों का एक बड़ा कारण बन चुका है हमारी रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बहुत कम हो चुकी है।

भागदौड़ भरी जिंदगी और शारीरिक क्षमता को हमने बिलकुल छोड़ दिया है शारीरिक कार्य बिल्कुल कम कर दिया है अधिकतर ऑफिस में एक ही सीट पर पूरा दिन एक ही बैठा रहता है मैं तो कोई शारीरिक श्रम करता है ना उसे कोई पसीना आता है ना वह पर्यावरण के वातावरण के संपर्क में आता है एक कंप्यूटर चेयर कि आज के समय में इंसान के जीवन बन गया है। हमने पर्यावरण से जैसे-जैसे डोरी बनाना शुरू किया है हम बीमारियों की चपेट में आने लगे हैं।

और पूरे विश्व को भी हमने खतरे में डाल दिया है विषाणु को इस पूरी दुनिया में कहीं कोई इलाज नहीं है विषाणु से केवल बचाव किया जा सकता है हमें भी अपनी ओर से पूरी सावधानी का पूरा बचाव रखना चाहिए दिशा निर्देशों का पालन करना चाहिए लापरवाही बिल्कुल नहीं बदलनी चाहिए हम जानते हैं कि पूरे विश्व में कितने व्यक्तियों की मृत्यु किस वायरस की वजह से हो चुकी है इसलिए हमें जितना हो सके सावधान रहना चाहिए घर पर रहते हुए हमें सभी देशों का पालन करना चाहिए। अपने आप को प्रकृति से भी जोड़ना चाहिए शारीरिक श्रम करना चाहिए थोड़ा व्यायाम भी जरूरी है भोजन मैं भी हमें बदलाव करना चाहिए

Written by Pritam Mundotiya

धर्म के नाम पर

धर्म के नाम पर दंगे ना कर। तू हिन्दू है या मुसलमान जो भी हो पहले इंसान बन।

इस फोटो को कोई एक्सप्लेन करेगा ??
लगातार जब मै कोई पोस्ट डालता हूं तो लगातार मेरे साथ जिन्होंने बहुत अच्छा समय बिताया है वो मुझसे आकर बोलते है, कमेंट करते है धर्म , मजहब , हिन्दू , मुस्लिम यही सब बोलते है लेकिन मेरा धर्म इंसानियत है जैसा श्री मदभागवत गीता जी में उपदेश दिया गया है। और मै उसीको अपने आचरण में लगातार लाने के लिए प्रयासरत हूं मुझे तुम्हारी तरह नहीं बनना बिल्कुल भी नहीं बनना।
“धर्म को धारण करना धर्म कहलाता है” धारण अर्थात
और वो सनातन है आजकल असमाजिक तत्व अपनी तरह से तोड़ मरोड़ कर धर्म बना रहे है और बिगाड़ रहे है जिसे धर्म नहीं कहते और वो धर्म नहीं हो सकता जिसमे लड़ाई झगड़ा आदि सिखाया जाए।

धर्म के नाम पर
धर्म के नाम पर

मुझे तो नहीं लग रहा की ये दोनों भाई है जिस तरह से इन लोगो झगड़ा किया है क्या वो भाई भाई करते है ??
जवाब आपके पास है मेरे पास तो बिल्कुल नहीं है।

क्या यहां दो भाई लिखना उचित था ?? इस तरह के विचार रखने वाला व्यक्ति मेरा भाई कैसे हुआ ???
मेरे विचार , मेरे संस्कार तो इस तरह का उपद्रव करने के संस्कार नहीं देते
मेरे अंदर क्रोध , घृणा , अहंकार , लालच , हो सकता है लेकिन क्या इस हद तक है ??
बिल्कुल नहीं है और ना ही कभी होगा क्युकी यह इंसानियत नहीं है , आजकल लोग इंसान नहीं बनना चाहते वो हिन्दू – मुस्लिम बनना चाहते है यह आपको बनना है यह आपका रास्ता है मेरा नहीं और मै ऐसे आडंबर , ढोंगी,सत्ता के लालची लोगो की तरह बनने का बिल्कुल इच्छुक नहीं हूं।
यह दो भाई लड़ रहे है आपस नुक़सान किसका हुआ ??

आपकी जमीन ,आपका घर , और आपके आसपास के लोगों का भी आपने घर , मकान , गाडियां यह सब जला दिया लेकिन किसलिए यह तो बता दो ??
हॉस्पिटल बंद रहेगा उस एरिया में सिर्फ तुम दो भाई लोगो की वजह से
रोड पर खड़ी रिक्शा और गाडियां सब जलाई तुम दो भाईयो ने , अब स्कूल कैसे जाएंगे बच्चे , हॉस्पिटल में दवाई तो तुम ही लोग लेने जाते हो अबकही ओर जाओगे पैसे भी तुम्हारे खर्च होंगे या कोई और आएगा ??

रोड तोड़ दी अब सरकार बनवाए तुम्हारे लिए ??
हॉस्पिटल बनवाए तुम्हारे लिए ताकि तुम फिर तोड़ दो
मस्जिद, मंदिर तोड़ दिए अब कहां जाओगे वैसे तुम दोनों भाई इस लायक नहीं हो की मंदिर ओर मस्जिद जाओ तुम्हे इतनी अक्ल ही नहीं है कि लड़ाई नहीं करते लड़ाई भी ऐसी मेरे पास लफ्ज़ भी नहीं है तुम दी भाईयो के लिए।
बहुत गुस्सा आ रहा है तुम दोनों भाइयों के लिए कितना लिखूं उतना कम है बेशर्मी की सारी हदे पार तुमने कर दी।

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क्या हम तैयार है

यह बात सोलह आने सच है हम चाहते तो है कि स्वछ भारत हो परंतु क्या हम तैयार है, अच्छे भारत के लिए, स्वच्छ व सुंदर भारत के लिए बस यही एक जरा सा सवाल हमे खुद से पूछ लेना चाहिए हम कही भी थूक देते है, खुले में शोच कर देते है गाड़ी से बाहर से कूड़ा फेक देते है, पानी की बोटल रास्ते में पीकर ही फेक देते है।

सार्वजनिक स्थानों पर सिगरेट हम ही पीते नजर आते है, कूड़ेदान को अपनी दुकान में ना रखकर दूसरे की दुकान के सामने हम डाल देते मेट्रो स्टेशन की दीवारों के बीच में गुटके के पाउच हम छिपा देते है, बस में सफर करते हुए ही हम बाहर थूकते हुए हम ही नजर आते है कितनी ही ट्रेन, बस हमारे लिए बनाई जा रही हो, परंतु हम ही उनको तोड़ देते है तथा गंदा भी हम ही करते हुए नजर आते है। क्या हम तैयार है?

एक सड़क का निर्माण हो रहा होता है तो उसके पत्थर भी हम लोग ही उठाकर घर ले जाते है।
दिल्ली, हरयाणा और उत्तर प्रदेश की सड़कें पूल जब बन रहे होते है तो पुलिस कर्मचारी लगाए जाते है ताकि कोई सामान ना चुरा ले जाये।

DDA के प्रोजेक्ट भी हमारे जैसे लोगो के कारण ही देर से होते है क्योंकि हमारे काम के लिए भी उन्हें सुरक्षा देनी पड़ती है ।

गाय, भेस रोज काट रही है क्योंकि ट्रैफिक पुलिस वाला रेड लाइट पर 500rs लेकर उस ट्रक को जाने देता है।

हम ही वो लोग है जिन्हें गाड़िया चाहिए और मुह पर मास्क भी हम ही को लगाना है उसके बाद चार लोगों मे बैठकर हम ही नजर आएंगे की बहार प्रदूषण व गर्मी बहुत है क्योंकि हमें यह कभी समझ नही आता कि इसका कारण हम ही है।

पानी नदी की तरह बहता रहता है तब परवाह नही है तब मेरा काम नही है यह सब बातें सामने आती है और जब चला जाता है तब रोते भी हम है फिर कोसते है सरकार को।

आज कल नई चीज देखने को मिल रही है parents ही अपने बच्चों को पनवाड़ी की दुकान पर लेकर जाते है फिर कहते है हमारा बच्चा गुटका सिगरेट और शराब पीने लग गया है
अब गलती किसकी ये कैसे समझ आये हमको रे।

क्या हम तैयार है? यह सवाल हमे स्वयं से पूछना चाहिए।

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